Hindi Vyakaran Book Pdf – Paryayvachi
हेलो दोस्तों , आज हम notes and projects की तरफ से hindi vyakaran की एक सीरीज निकालने जा रहे हैं जिसमें आज की इस hindi vyakaran book pdf की कड़ी में हम आपके लिए लाये हैं पर्यायवाची। उम्मीद है आपको ये सभी पर्यायवाची अच्छी लगी होती। आज की इस पर्यायवाची की नोट्स आप पोस्ट / पीडीऍफ़ के रूप में इसी पोस्ट के नीचे से डाउनलोड सकते हैं।
पर्यायवाची शब्द
जो शब्द अर्थ की दृष्टि से समान होते हैँ, वे पर्यायवाची शब्द कहलाते हैँ। हिन्दी भाषा मेँ प्रयुक्त होने वाले सभी शब्द अपना स्वतंत्र अर्थ रखते हैँ तथा कोई भी शब्द पूरी तरह से दूसरे शब्द का पर्याय नहीँ होता, फिर भी कुछ समानताओँ के आधार पर इन्हेँ पर्यायवाची मान लिया जाता है। परन्तु स्मरणीय बात यह है कि अर्थ मेँ समानता होते हुए भी पर्यायवाची शब्द प्रयोग मेँ सर्वथा एक–दूसरे का स्थान नहीँ ले सकते। जैसे– मृतात्माओँ के तर्पण के लिए जल शब्द का प्रयोग उपयुक्त है, पानी का नहीँ।
प्रत्येक पर्यायवाची शब्द का वाक्य प्रयोग के अनुसार ही उचित अर्थ बैठता है। अतः भावानुसार इन शब्दोँ का प्रयोग करना चाहिए। पर्यायवाची शब्द गद्य या पद्य साहित्य को पुनरुक्ति दोष से ग्रसित होने से बचाते हैँ।
महत्त्वपूर्ण पर्यायवाची शब्द– | ||
1. | अंधकार | तम, तिमिर, अँधेरा, अँधियारा, ध्वांत, तमिस्र, तमस। |
2. | अंधा | नेत्रहीन, चक्षुहीन, विवेकशून्य, दृष्टिहीन। |
3. | अहंकार | दर्प, दम्भ, अभिमान, घमण्ड, गर्व, मद। |
4. | अतिथि | मेहमान, पाहुना, आगंतुक, अभ्यागत, बटाऊ। |
5. | अग्नि | आग, अनल, पावक, वह्नि, ज्वाला, कृशानु, वैश्वानर, धनंजय, दहन, सर्वभक्षी, जातवेद, हुताशन, हव्यवान, ज्वलन, शिखा, वैसन्दर, रोहिताश्व, कृपीटयोनि, तनूनपात, शोचिष्केनश, उषर्बुध, आश्रयाश, वृहदभानु, वायुसख, चित्रभानु, विभावस्, शुचि, अप्पिन्त। |
6. | अकाल | सूखा, दुर्भिक्ष, भुखमरी, कमी, काळ (राजस्थानी)। |
7. | अध्यापक | गुरु, आचार्य, शिक्षक, प्रवक्ता, उपाध्याय। |
8. | अमृत | सुधा, पीयूष, अमिय, सोम, सुरभोग, जीवनोदक, अमी, मधु, दिव्य पदार्थ। |
9. | अनुपम | अनूप, अपूर्व, अतुल, अनोखा, अद्भुत, अनन्य, अद्वितीय, बेजोड़, बेमिसाल, अनूठा, निराला, अभूतपूर्व, विलक्षण। |
10. | असुर | दैत्य, दानव, राक्षस, निशाचर, रजनीचर, दनुज, रात्रिचर, जातुधान, तमीचर, मायावी, सुरारि, निश्चिर, मनुजाद। |
11. | अचल | अटल, अडिग, अविचल, स्थिर, दृढ़। |
12. | अनाथ | यतीम, नाथहीन, बेसहारा, दीन, निराश्रित। |
13. | अपमान | अनादर, बेइज्जती, अवमानना, निरादर, तिरस्कार। |
14. | अभिजात | संभ्रान्त, कुलीन, श्रेष्ठ, योग्य। |
15. | अभिप्राय | आशय, तात्पर्य, मतलब, अर्थ, मंशा, व्याख्या, भाष्य, टीकापिप्पणी। |
16. | अरण्य | जंगल, अटवी, विपिन, कानन, वन, कान्तार, दावा, गहन, बीहड़, विटप। |
17. | अजेय | अदम्य, अपराजेय, अपराजित, अजित। |
18. | अन्य | पर, भिन्न, पृथक, और, दूसरा, अलग। |
19. | अनुचर | भृत्य, किँकर, दास, परिचारक, सेवक। |
20. | अनार | शुकप्रिय, रामबीज, दाड़िम। |
21. | अर्जुन | पार्थ, धनंजय, सव्यसाची, गाण्डीवधारी। |
22. | अक्षर | हरफ, ब्रह्म, अ आदि वर्ण, अविनाशी। |
23. | अनाज | अन्न, धान्य, खाद्यान्न, शस्य, गल्ला। |
24. | अधिकार | हक, स्वामित्व, स्वत्व, कब्जा, आधिपत्य। |
25. | अनुमान | अंदाज, तखमीना, अटकल, कयास। |
26. | अनुमति | इजाजत, आज्ञा, अनुज्ञा, मंजूरी, स्वीकृति। |
27. | अप्सरा | देवांगना, सुरांगना, देवकन्या, सुखनिता, अरुणप्रिया। |
28. | अवनति | अपकर्ष, ह्रास, गिराव, उतार। |
29. | अशुद्ध | दूषित, अपवित्र, मलिन, गंदा, गलत। |
30. | अस्त | ओझल, गायब, छिपना, तिरोहित। |
31. | आँख | नेत्र, नयन, चक्षु, दृग, लोचन, अक्षि, नजर, दृष्टि, विलोचन। |
32. | आँसू | अश्रु, नयनजल, नेत्रनीर, नैत्रज, दृगजल, दृगम्बु। |
33. | आँधी | तूफान, चक्रवात, झंझावत, बवंडर। |
34. | आँगन | अंगना, प्रांगण, बाखर, बगर, अजिर, बाड़ा। |
35. | आकाश | नभ, अंबर, व्योम, गगन, अनंत, शून्य |
36. | आम | आम्र, रसाल, सहकार, अमृतफल, अम्बु, सौरभ, मादक। |
37. | आनन्द | आमोद, प्रमोद, प्रसन्नता, हर्ष, उल्लास, आह्लाद। |
38. | आन | प्रण, प्रतिज्ञा, हठ, शपथ, घोषणा, मर्यादा। |
39. | आभूषण | जेवर, गहना, भूषण, आभरण, मंडन, अलंकार। |
40. | आत्मा | चैतन्य, विभु, जीव, सर्वज्ञ, सर्वव्याप्त, देव, चेतनतत्त्व, अन्तःकरण। |
41. | आज्ञा | आदेश, निदेश, हुक्म। |
42. | आयु | उम्र, वय, अवस्था, जीवनकाल। |
43. | आदर्श | मानक, प्रतिमान, नमूना, प्रतिरूप। |
44. | आदि | प्रथम, आरम्भिक, पहला, अथ। |
45. | आपत्ति | विपत्ति, आपदा, संकट, मुसीबत। |
46. | आश्रय | अवलंब, सहारा, आधार, प्रश्रय, आसरा। |
47. | आश्रम | कुटी, विहार, मठ, संघ, अखाड़ा। |
48. | आचरण | व्यवहार, चाल–चलन, बरताव। |
49. | आयुष्मान | चिरायु, दीर्घायु, चिरंजीव। |
50. | इन्द्र | महेन्द्र, देवराज, देवेश, सुरपति, शचिपति, वासव, पुरन्दर, सुरेन्द्र, सुरेश, देवेन्द्र, मघवा, शक्र। |
51. | इच्छा | अभिलाषा, आकांक्षा, कामना, चाह, ईप्सा, मनोरथ, उत्कंठा, लालसा, वांछा, लिप्सा, काम, चाव। |
52. | ईश्वर | परमात्मा, प्रभु, ईश, जगदीश, भगवान, परमेश्वर, जगदीश्वर, विधाता, दीनबन्धु, जगन्नाथ, हरि, राम, विश्वम्भर। |
53. | ईर्ष्या | जलन, डाह, द्वेष, खार, रश्क, कुढ़न। |
54. | ईनाम | उपहार, पुरस्कार, पारितोषिक, बख्शीश। |
55. | ईमानदारी | सदाशयता, निष्कपटता, दयानतदारी। |
56. | उपहास | मजाक, खिल्ली, परिहास, मखौल, हास, प्रहसन्न, हँसी, लास। |
57. | उपवन | बाग, बगीचा, उद्यान, वाटिका, फुलवारी, गुलशन। |
58. | उत्तम | श्रेष्ठ, उत्कृष्ट, प्रवर, प्रकृष्ट, बेहतरीन, अच्छा। |
59. | उत्थान | उत्कर्ष, आरोह, चढ़ाव, उत्क्रमण, उन्नति, प्रगति, उन्नयन। |
60. | उदाहरण | दृष्टांत, मिसाल, नजीर, नमूना। |
181. | पवन | अनिल, वात, वायु, बयार, समीर, हवा, मरुत, मारुत, प्रभंजन। |
182. | पति | भर्ता, स्वामी, बालम, भरतार, अधिईश, कान्त, नाथ, आर्यपुत्र, वर, प्राणाधार, प्राणेश, प्राणप्रिय। |
183. | पत्नी | भार्या, दारा, सहधर्मिणी, वधु, गृहिणी, बहू, वामा, अर्द्धांगिनी, गृहिणी, कलत्र, कान्ता, अंगना। |
184. | पथ | राह, रास्ता, मार्ग, बाट, पंथ। |
185. | पराग | रज, पुष्परज, केशर, कुसुमरज। |
186. | पत्ता | पर्ण, पल्लव, दल, किसलय, पत्र। |
187. | प्रकाश | रोशनी, आलोक, उजाला, प्रभा, दीप्ति, छवि, ज्योति, चमक, विकास। |
188. | पत्थर | पाषाण, शिला, पाहन, प्रस्तर, उपल। |
189. | प्रातः | प्रभात, सुबह, अरुणोदय, उषाकाल, अहर्मुख, सवेरा। |
190. | पान | ताम्बूल, नागरबेल, मुखमंडन, मुखभूषण। |